बालोद । पाररास के उड़िया बस्ती इलाके से 8 साल 6 माह की बच्ची का अपहरण करने वाले आरोपी धर्मदास हरपाल उर्फ कालिया उम्र 35 वर्ष को बालोद पुलिस ने धारा 363 यानी अपहरण के आरोप में गिरफ्तार किया कर लिया है। पुलिस ने बच्ची के पिता परदेसी राम साहू की शिकायत पर यह कार्रवाई की। वहीं आरोपी को पकड़ने में एसपी के नेतृत्व में गठित टीम में बालोद पुलिस के थाना प्रभारी गेंदसिंह ठाकुर के अलावा अर्जुन्दा टीआई कुमार गौरव साहू, गुंडरदेही टीआई रोहित मालेकर व अन्य का प्रतिनिधित्व रहा। सभी स्टाफ ने मिलकर इस कार्यवाही को सफल बनाया।
बीती रात को लगभग 8:00 बजे बच्ची का अपहरण हुआ था। जो दूसरे दिन सुबह 7:30 से 8:00 के बीच बरामद हुई। वहीं आरोपी भी पकड़ा गया। जो कि रेलवे का कर्मचारी भी है। आरोपी रात भर बच्ची का अपहरण कर के उसे रानितराई में रखा हुआ था। इधर परिजन उसे उसके घर में ढूंढ रहे थे। लेकिन वह मिली नहीं। जिसके बाद देर रात को पुलिस थाने में जाकर परिजनों ने शिकायत की थी। दूसरे दिन रानितराई से बच्ची को पाररास लाते समय रास्ते में पुलिस ने आरोपी को पकड़ा और थाने ले गई। पूछताछ में आरोपी ने कहना है कि बच्ची की मां से उसका कुछ बात पर झगड़ा हुआ था। जिसके बाद उसने बच्ची को परिवार वालों को डराने के इरादे से बच्ची का अपहरण कर लिया था। बच्ची के पिता परदेसी राम साहू के रिपोर्ट के मुताबिक उन्होंने पुलिस को बताया है कि
मै मरार पारा बालोद का रहने वाला हूं बढई का काम करता हूं। मेरे दो संतान हैं। बड़ा लड़का का नाम हिमांशु उम्र 11 वर्ष एवं छोटी पुत्री है जिसका नाम भूमिका साहू उम्र 08 वर्ष 06 माह है। 02.जनवरी.2021 को मैं अपने सेठ घनश्याम साहू के यहां बढई काम करने मधु चौक गया था। काम से वापस 05 बजे शाम अपने घर गया तो देखा कि मेरी लड़की भूमिका व मेरे गांव से आई चमेली बाई ठाकुर घर पर थी। तब मैं चमेली बाई को अपनी पत्नी के बारे में पूछा कि मेरी पत्नी सुभद्रा कहां है । तो वह बताई कि धरमदास के घर गई है, फिर मैं करीबन 06 बजे शाम को अपनी पत्नी के मोबाईल में फोन लगाया, तब मेरी पत्नी के फोन को धरमदास उठाया एवं मुझे बताया कि तुम्हारी पत्नी अभी बाजार तरफ गई है औंर फोन को मेरे घर में छोड़ दी है। मैं कुछ देर बाद धरमदास के घर गया, वहां मेरी पत्नी सुभद्रा उपस्थित मिली। जो बताई कि धरमदास ने मुझसे मारपीट किया है और फोन को अपने पास रख लिया है तथा धरमदास मुझे बोला कि तुम अभी जाओ, सुभद्रा मेरे घर में रहेगी। वह बाद में आयेगी। तब मैं धरमदास के भाई चरण को फोन कर यह बात बताया। इसके पश्चात चरण के चाचा व उसका भतीजा दोनों आये एवं धरमदास व सुभद्रा को समझाये। इसी बीच चरण भी आ गया। वह भी समझाया। फिर मैं अपने पत्नी को लेकर रात्रि करीबन 08 बजे घर वापस पहुंचा, तब देखा कि मेरी लड़की कु. भूमिका घर पर नही थी। मुझे चमेली ठाकुर तथा मेरे पड़ोसी ने बताया कि लड़की भूमिका को धरमदास ने तुम्हारे माता-पिता बैंक के पास खड़े हैं औंर तुम्हे बुला रहे हैं, कहकर मोटर साईकल में बिठाकर ले गया है। फिर मै अपनी लड़की कु. भूमिका का आसपास में पता तलाश किया ।किंतु कोई पता नही चला है। धरमदास द्वारा मेरी लड़की कु. भूमिका को मेरे बगैर जानकारी के अपहरण कर ले गया ।
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