राजिम कुंभ के समापन में सीएम के साथ शामिल हुई विधायक संगीता सिन्हा

बालोद। राजिम कुंभ मेले का समापन महाशिवरात्रि पर हुआ। जिसमें मुख्य अतिथि के रूप में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल पहुंचे थे। विशेष अतिथि के रूप में बालोद जिले से विधायक संगीता सिन्हा भी शामिल हुई। इस दौरान सीएम के साथ विधायक संगीता सिन्हा ने कुंभ के समापन पर महा आरती भी की। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ का सुप्रसिद्ध तीर्थ राजिम मात्र एक शहर नहीं बल्कि आध्यात्म, धर्म और हमारी गौरवशाली संस्कृति का संगम है। राजिम के महत्व को देखते हुए हमने यहां राजिम माघी पुन्नी मेला को भव्यता प्रदान करने के लिए न केवल नये मेला स्थल के लिए 54 एकड़ जमीन आवंटित की है। बल्कि मेले में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए धर्मशाला के निर्माण सहित अन्य सुविधाएं विकसित की जा रही हैं। मेले स्थल का तेजी से विकास किया जा रहा है। आज राजिम के त्रिवेणी संगम में 33.12 करोड़ रूपए की लागत से निर्मित लक्ष्मण झूले का लोकार्पण किया गया।

महानदी, पैरी और सोंढूर के पवित्र त्रिवेणी संगम के तट पर 16 फरवरी से 01 मार्च तक 15 दिनों तक चलने वाले श्रद्धा-भक्ति और आस्था के छत्तीसगढ़ के इस सबसे बड़े राजिम माघी पुन्नी मेला 2022 का भव्य समापन महाशिवरात्री के अवसर पर मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के मुख्य आतिथ्य में सम्पन्न हुआ। मुख्यमंत्री सहित अतिथियों ने भगवान राजीव लोचन की प्रतिमा में दीप प्रज्वलित कर पूजा अर्चना की और महानदी की आरती में शामिल होकर प्रदेश की खुशहाली और समृद्धि की कामना की। कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रदेश के धर्मस्व, पर्यटन, गृह, जेल, लोक निर्माण मंत्री श्री ताम्रध्वज साहू ने की। राजिम माघी पुन्नी मेला में इस वर्ष 10 लाख श्रद्धालुओं ने शामिल होकर धर्म और आस्था के संगम में डुबकी लगाई। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने आगे कहा कि विधायक अमितेष शुक्ल ने 15 दिन तक शराब पर प्रतिबंध लगाने कि बात कही थी जिसे हमने तुरंत स्वीकृति दे दी और 15 दिन राजिम सहित आस-पास के क्षेत्रों की शराब दुकानें भी बंद रही।

रामायण से जुड़ी यादों को सहेजने पहल कर रही भूपेश सरकार- विधायक

विधायक संगीता सिन्हा ने कहा कि छत्तीसगढ़ की भूपेश सरकार रामायण से जुड़ी भगवान राम के यादों को सहेजने के लिए पहल कर रही है। जो अपने आप में एक अद्भुत कार्य है। भगवान राम ने वनवासकाल में सबसे ज्यादा समय छत्तीसगढ़ में बिताया। राजिम से लेकर शिवरीनारायण तक का क्षेत्र कमल क्षेत्र कहलाता है। रामवनगमन पथ के लिए 9 महत्वपूर्ण स्थलों को पूरी भव्यता के साथ विकसित किया जा रहा है। इसमें राजिम महत्वपूर्ण पड़ाव है। राजिम को संवारने का कार्य हमारी सरकार द्वार किया जा रहा है।

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