इस्तीफा- बालोद कांग्रेस के पूर्व जिला अध्यक्ष अभिषेक को आखिर क्यों नही रहा भूपेश पर भरोसा, देखिए किस वजह से उन्होंने 25 साल के राजनीतिक करियर पर खुद ही लगाई ब्रेक?
बोले अभी कौन सी पार्टी में जाऊंगा कुछ कह नहीं सकता?
बालोद। डौंडीलोहारा ब्लाक के ग्राम आलीखुटा के रहने वाले वरिष्ठ कांग्रेसी नेता रहे पूर्व जिला अध्यक्ष अभिषेक शुक्ला (पूर्व जिला पंचायत सदस्य) ने अब कांग्रेस का साथ छोड़ दिया है। उन्होंने प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम एवं प्रदेश प्रभारी पी एल पुनिया के नाम से प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देते पत्र प्रेषित किया है। उनका कहना है कि ये उनका अंतिम निर्णय है अब उनकी कांग्रेस में वापसी कभी होगी नहीं। एक बार जो उन्होंने कदम उठाया है तो वे पीछे नहीं हटेंगे। कांग्रेस छोड़कर आगे वे किस पार्टी में जा सकते हैं इसको लेकर अभी वे कुछ नहीं कहना चाहते। उनका कहना है कि अभी भी ऐसी कोई स्थिति या निर्णय में नहीं पहुंचे हैं कि कोई दूसरी पार्टी से जुड़े। उनका कहना है कि कांग्रेसमें कार्यकर्ताओं की कद्र नहीं है। कांग्रेस में कार्यकर्ताओं की कद्र तब थी जब वह विपक्ष में था। लेकिन जब से सत्ता आई है तब से कांग्रेस कार्यकर्ताओं को भूल गई और इसी रवैया को भांपते हुए वे भी कांग्रेस के कार्यक्रम से दूरी बनाने लगे। उन्हें समझ में आ गया कि उनके मेहनत का यहां कोई औचित्य नहीं है और इसीलिए उन्होंने अब इस्तीफा दे दिया है। अभिषेक शुक्ला का कहना है कि जब कांग्रेस सत्ता में नहीं थी तो कार्यकर्ताओं से धरना प्रदर्शन करवाने, आंदोलन करवाने में उनका पूरा इस्तेमाल करती थी। लेकिन जब सत्ता हासिल हुई तो उन्हीं कार्यकर्ताओं को वह भूल गई और किनारे करके सिर्फ ऐसे लोगों को साथ लेकर चल रही है जो चापलूसी और चाटुकारिता में रहते हैं। आज यहां कार्यकर्ताओं की कोई कदर नहीं है और इसीलिए अब कांग्रेस में नहीं रहना चाहते। शुक्ला ने कहा कि उन्होंने अपने राजनीतिक कैरियर में कांग्रेस को आगे बढ़ाने के लिए जी तोड़ मेहनत की थी। लेकिन पार्टी और पार्टी के दिग्गज उनकी मेहनत को समझ नहीं पाए और उन्हें दरकिनार किया गया और इसी के चलते हुए अब कांग्रेस के और साथ चलने से पीछे हट गए हैं। उन्हें समझ में आ गया है कि कांग्रेस में उनका कोई महत्व नहीं रह गया है। कांग्रेसी अपने काम करने वाले कार्यकर्ताओं को अब साइड में कर चल रही है और इसका दुष्परिणाम भी पार्टी को भुगतना पड़ेगा।
जिलाध्यक्ष की कमान संभाल चुके, बघेल के साथ कई आंदोलन में भी हिस्सा लिए
श्री अभिषेक शुक्ला कांग्रेस में पूर्व में 2015 से 2018 तक जिला अध्यक्ष की भी कमान संभाल चुके थे। जिला पंचायत सदस्य भी रह चुके हैं। जब कांग्रेस सत्ता में नहीं थी तो उन्हें कई आंदोलन की जिम्मेदारी भी मिली। जिसमें में खरे उतरे। नेता प्रतिपक्ष रहे भूपेश बघेल के साथ-साथ कई दिग्गज नेताओं के साथ में आंदोलन में शामिल हुए और नेतृत्व भी किए थे। बात चाहे दिल्ली तक की क्यों ना हो वे हर आयोजन में पहुंचते थे।
कलेक्ट्रेट घेराव, लोकतंत्र बचाओ सहित कई मुद्दों में वे खुलकर कांग्रेस की ओर से मजबूत विपक्ष की भूमिका निभाते थे और कांग्रेस को आगे ले जाने का प्रयास करते थे। पर अब वह कांग्रेस के रवैए से दुखी हैं। उन्होंने कहा कि उनका गांव गुंडरदेही विधानसभा क्षेत्र में आता है। वे उक्त विधानसभा क्षेत्र से चुनाव भी लड़ना चाहते थे। जिसके चलते उन्होंने 2018 में अपने पद से इस्तीफा देकर टिकट की मांग की थी। लेकिन उन्हें टिकट नहीं दिया गया। आलाकमान ने तो कहा था कि जो चुनाव की दावेदारी कर रहे हैं उन्हें अपने वर्तमान पद से इस्तीफा देना पड़ेगा। उनके अनुसार उन्होंने अपना पद तो छोड़ दिया लेकिन टिकट नहीं मिली।
कांग्रेस अब सिर्फ चापलूस और चाटुकारो की पार्टी
बालोद जिला कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष एवं जिलापंचायत के पूर्व सभापति अभिषेक शुक्ला ने कांग्रेस पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देते कहा वे कांग्रेस में दुर्ग जिला के कद्दावर नेता मेरे राजनीतिक गुरु स्व.दाऊ वासुदेव चंद्राकर के सानिध्य एवं मार्गदर्शन में युवक कांग्रेस के एक कार्यकर्ता के रूप में अपनी राजनीति की शुरुवात की। एक कार्यकर्ता से लेकर पदाधिकारी के रूप में लगातार 25 वर्षो तक तन,मन,धन से पार्टी द्वारा दिये गए दायित्वों का निर्वहन धरातल में किया। पर दुर्भाग्य की बात है कि प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बनते ही सरकार और कांग्रेस पार्टी ने कर्तव्यनिष्ठ कार्यकर्ताओं का साथ छोड़ दिया। कांग्रेस जब विपक्ष में थी तब पूरे छत्तीसगढ़ सहित बालोद जिला मेंआयोजित संकल्प शिविर में प्रदेश कांग्रेस के प्रभारी,प्रदेश अध्यक्ष से लेकर तमाम शीर्षस्थ नेता मंच से कार्यकर्ताओं को आश्वस्त किया था। यदि छत्तीसगढ़ में कांग्रेस सरकार बनती है तो बूथ ,सेक्टर,जोन ,ब्लॉक के कार्यकर्ताओं के अनुसंशा के आधार पर कार्य कराए जाएंगे।उनका सम्मान रहेगा। परन्तु कांग्रेस की सरकार बनने के बाद वह कार्यकर्ता अपने आप को ठगा महसूस कर रहा है। स्थिति ये हो गई कि कांग्रेस के कार्यकर्ता अपने छोटे से छोटे काम के लिए विधायकों ,मंत्रियों,अधिकारियों के चक्कर लगा रहे है। फिर भी उनका काम नही हो रहा है। श्री शुक्ला ने कहा मैं जब बालोद जिला कांग्रेस अध्यक्ष पद पर था। मैंने भी इन्ही सब बातों को पार्टी के कार्यकर्ताओं से कही थी।और कहा था कार्यकर्ता ही हमारी पूंजी है परंतु वर्तमान में उनकी स्थिति देखते हुए मुझे आत्मग्लानि होती है। कांग्रेस ऐसी पार्टी हो गई है जिसकी कोई नीति है ना रीति। यह कांग्रेस का दोहरा चरित्र है। दुर्भाग्य है कि आज हजारो कार्यकर्ताओ की मेहनत से कांग्रेस में ऊंचाई पर बैठे लोग बड़े नेता बनकर अब अपने आपको पार्टी से भी बड़ा समझने लगे है। अभिषेक शुक्ला ने कहा कांग्रेस में अब संगठन नाम की कोई चीज नही है।कांग्रेस अब सिर्फ चाटुकारो एवं चापलूसों की पार्टी बन गयी है। सरकार में भी ऐसे ही लोगो का बोलबाला है। कांग्रेस की इन सभी स्थितियों को देखकर मैंने कांग्रेस पार्टी छोड़ दी।मैं जनता का सेवक हूं।गुंडरदेही विधानसभा क्षेत्र के साथ ही बालोद जिले के किसानों एवं आम जनता के हितों के लिए हमेशा संघर्ष करता रहूंगा।