आग, पानी जैसी आपदा- विपदा से कैसे बचेंगे शिक्षक, तीन दिवसीय प्रशिक्षण में जाना
सड़क हादसों में घायलों की मदद की तरकीब सीखें, जमरूवा में हुआ आयोजन
मास्टर ट्रेनर लेख राम साहू ने डेमो देकर बताया
बालोद। विगत दिनों स्कूल के शिक्षकों में शाला सुरक्षा कार्यक्रम के तहत विभिन्न आपदा और विपदा से बचने के तरीकों को लेकर प्रशिक्षण दिया गया। 3 दिनों तक चलने वाले इस प्रशिक्षण में अलग-अलग सेंटर्स में शिक्षकों की मौजूदगी रही। जहां मास्टर ट्रेनर ने डेमो और प्रेजेंटेशन के जरिए अलग-अलग घटनाओं में बचाव के तरीके बताएं। यह घटनाएं कभी स्कूल में तो कभी स्कूल के बाहर भी घटित हो सकती है। जिनकी बारीकी बताकर उनसे बचाव के तरीके भी शिक्षकों को सिखाए गए। शिक्षकों ने जाना कि कैसे हम आग, पानी, बिजली या सड़क हादसों में बचाव कर सकते हैं ।
घायलों की जान बचा सकते हैं। उन्हें समय पर अस्पताल पहुंचा सकते हैं। इसी क्रम में संकुल केंद्र जमरूवा में मुख्यमंत्री शाला सुरक्षा कार्यक्रम के अन्तर्गत शाला सुरक्षा एवम् व्यक्तिगत सुरक्षा प्रशिक्षण सह कार्यशाला संपन्न हुआ। 7से 9जून तक मुख्यमंत्री शाला सुरक्षा कार्यक्रम के अन्तर्गत संकुल स्तरीय तीन दिवसीय शाला सुरक्षा एवम् व्यक्तिगत सुरक्षा प्रशिक्षण सह कार्यशाला एस सी आर टी रायपुर तथा डाइट दुर्ग के निर्देशन में जिला प्रशासन व जिला शिक्षा अधिकारी के मार्गदर्शन में आपदा, विपदा, बाल यौन शौषण के रोकथाम हेतु समस्त शिक्षको, पालकों तथा बच्चों को पर्याप्त जानकारी प्रदान करने संबंधी शासन की मंशा अनुरूप उक्त प्रशिक्षण हुआ। प्रशिक्षण का शुभारंभ श्रीमती ए बेक प्राचार्य शासकीय हाई स्कूल जमरूवा, श्री पी आर साहू व्याख्याता, श्री टी एस साहू शासकीय हाई स्कूल जमरूवा , श्री लेख राम साहू एस आर जी, मास्टर ट्रेनर्स श्री छोटे लाल चंद्राकर, श्री किशन देवांगन की उपस्थिति में किया गया। जिसमें संकुल केंद्र जमरूवा के अन्तर्गत हाई स्कूल, माध्यमिक शाला तथा प्राथमिक शाला के समस्त शिक्षक/ शिक्षिका को प्रशिक्षित किया गया । मास्टर ट्रेनर्स लेख राम साहू, छोटे लाल चंद्राकर व किशन देवांगन ने संरचनात्मक व गैर संरचनात्मक जोखिमों ,आपदा , विपदा,भूकंप, बाढ़ ,सड़क दुर्घटना, अग्नि सुरक्षा , संपदंश ,डेंगू ,वायरल बुखार आदि के कारण प्रभाव एवं बचाव की जानकारी दी।
डेमो देकर बताया, कैसे करें घायलों की मदद
लेख राम साहू द्वारा सड़क दुर्घटना में घायल व्यक्ति की अचेतन अवस्था में प्राथमिक सहायता का प्रदर्शन कर बताया कि हम उपलब्ध संसाधनों के द्वारा कैसे सहायता कर सकते हैं ,बेहोश व्यक्ति की सर्वप्रथम अवलोकन कर देखना कि उसकी स्थिति क्या है उसे सुरक्षित स्थान पर ले जाने के पूर्व उसकी नब्ज सांस और दिल की धड़कन की जांच करना आवश्यक है। व्हीलचेयर ना होने की स्थिति में अपने हाथों के प्रयोग से इस स्थिति को बेहतर तरीके से सुलझा सकते हैं जिसे मॉक ड्रिल कर बताया कि एक पैर में चोट लगने,दोनों पैर अथवा कमर में चोट होने पर अपने हाथ का उपयोग स्ट्रेचर के रुप में कैसे उपयोग करे ।आग लगने से धुआं भरने के क्या करें को डेमो के माध्यम से बताया गया।इस वर्ष से शाला सुरक्षा को प्राथमिकता के साथ विकास योजना में शामिल करें करके बताया गया ।
प्रशिक्षण के दौरान मास्टर ट्रेनर द्वारा जलना एवं आग में जलने पर ,साइलेंसर में जलने पर ,बिच्छू /मधुमक्खी /के काटने पर , बिजली गिरने पर ,सांप काटने पर प्राथमिक सहायता किस प्रकार करना चाहिए इसका प्रयोग मॉक ड्रिल करके बताया। ।हाथ धुलाई के छः चरण को सुमन(Suman K) के पर गतिविधि कराई S – सीधा U – उल्टा M-अंगूठे N- नाखून तथा K -कलाई ।किशोरावस्था में बदलाव व व्यक्तिगत सुरक्षा , गुड टच एवम् बेड टच के बारे में तथा पॉक्सो एक्ट पर विस्तार पूर्वक जानकारी दी गई। सी पी आर क्या है, किन परिस्थितियों में देना है, कौन सा जगह पर देना है को मॉक ड्रिल करके विस्तार पूर्वक जानकारी प्रदान किया गया। गैस सिलेंडर में आग लगने पर बुझाने,अग्निशमन यंत्र से आग बुझाने को मॉक ड्रिल करके बताया गया। घायल व्यक्ति को पट्टी बांधना, नदी या तालाब में डूबने पर कैसा निकालना है,गांठ व बंधन के प्रकार व जीवन में किस प्रकार उपयोगी है के बारे में मॉक ड्रिल करके बताया गया। प्रशिक्षण के दौरान जलपान व्यवस्था रखा गया। प्रशिक्षण के समापन में संकुल प्रभारी एवम् प्राचार्य ए बेक शासकीय हाई स्कूल जमरूवा ने प्रशिक्षण के महत्व पर प्रकाश डालते हुए सभी शिक्षकों को अपने विद्यालय तथा दैनिक जीवन में अमल में लाने तथा समाज के हर व्यक्ति को प्राथमिक सहायता के बारे में जानकारी अपने संस्कृति और व्यवहारिक ज्ञान में जोड़ते हुए बताने का सुझाव प्रदान करते हुए अपने विचार व्यक्त किए तथा सभी का आभार व्यक्त किया।