बालोद ब्रेकिंग- गला दबाकर इस मां-बेटे ने की थी घर के मुखिया की हत्या, फिर गांव वालों से छिपाई बात, पीएम रिपोर्ट में खुला था राज, मां-बेटे को मिला आजीवन कारावास
बालोद/ छत्तीसगढ़। न्यायालय मनोज सिंह ठाकुर, प्रथम अतिरिक्त न्यायाधीश बालोद छ0ग0 के द्वारा आरोपी 1. ओमप्रकाश देशमुख आ. स्व. मोहन लाल देशमुख उम्र 23 वर्ष, 2. चुन्नी बाई पति स्व. मोहन लाल देशमुख, उम्र 41 वर्ष, साकिन-गोडमर्रा थाना – सुरेगांव, जिला- बालोद , दोनों को पृथक-पृथक धारा 302 / 34 भा.दं.सं. के अपराध में आजीवन कारावास व 100/- रूपये अर्थदण्ड तथा 201 / 34 भा.दस के अपराध में सात वर्ष का कारावास एवं 100 रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया।प्रकरण अपर लोक अभियोजक चित्रांगद देशमुख के अनुसार घटना दिनांक 08.05.2019 को रात्रि करीब 9 बजे मोहन लाल देशमुख ऋणपुस्तिका व गाड़ी की चाबी को लेकर अपने पत्नी एवं पुत्र के साथ लड़ाई झगडा किया था। तब दिनांक 09.05.2019 की रात्रि को आरोपी द्वारा मोहन लाल का गला दबाकर हत्या कर दिया। दूसरे दिन गांव वाले को बुलाकर मोहन लाल की मृत होने की सूचना दिया तब ग्राम कोटवार एवं अन्य नागरिकों द्वारा मृत्यु के संबंध में आशंका होना व्यक्त किया। तत्पश्चात् इसकी सूचना पुलिस थाना सुरेगांव में दिया गया। घटना स्थल पर पुलिस पहुंचकर मृतक का पंचनामा तैयार कर एवं पी.एम. कराने शासकीय अस्पताल डौण्डीलोहारा भेजा गया। पी.एम. रिपोर्ट प्राप्त होने के पश्चात् चिकित्सक ने गला दबाकर होना बताया। तत्पश्चात् पुलिस थाना सुरेगांव द्वारा अन्वेषण किया गया, जिसमे आरोपीगणों के खिलाफ प्रथम दृष्टया मामला अपराध क्रमांक 19/ 2219 पर अपराध पंजीबद्ध किया गया। विवेचना के पश्चात् न्यायालय में चालान प्रस्तुत किया। जहां न्यायालय ने साक्षियों के परीक्षण उपरांत आरोपी के विरुद्ध अपराध सिद्ध पाते हुए उक्त कारावास से दण्डित किया गया।
कोटवार ने देखा गले पर निशान तो पुलिस पहुंची, बीवी व बेटा निकला कातिल
पुलिस डायरी के मुताबिक सुरेगांव थाना क्षेत्र के ग्राम गोंडमर्रा में 8 मई 2019 की रात को 9 बजे किसान मोहन लाल देशमुख (45) की उनकी पत्नी चुन्नी बाई देशमुख (41) व बेटा ओमप्रकाश देशमुख (23) ने गला दबाकर हत्या की थी। इस हत्या को सामान्य मौत बताने के लिए पूरे परिवार ने फिल्मी ड्रामे के साथ लाश को घटनास्थल से हटाकर बिस्तर पर लिटा दिया था। दूसरे दिन यानी शुक्रवार को परिजन, गांव वालों को यह बताने लगे कि ज्यादा शराब पीने से हार्टफेल हुआ और बिस्तर पर सोए -सोए ही उनकी मौत हो गई है। शुक्रवार को परिजन मृतक मोहनलाल देशमुख के अंतिम संस्कार की तैयारी कर रहे थे। उनके शरीर पर हल्दी तक लगा चुके थे। इतने में गांव के कोटवार देवप्रसाद देवदास ने गले पर निशान देख पुलिस को खबर कर दी। अंतिम संस्कार के पहले पुलिस पहुंची और लाश को उठा कर पीएम के लिए ले गई। पीएम रिपोर्ट में गला दबाने से मौत की पुष्टि हुई। जिसके बाद पुलिस ने परिजन से पूछताछ की तो हत्या का राज खुला।
शराब के नशे में आए दिन होता था विवाद प्रॉपर्टी बेच शराब में पैसा उड़ाना चाहता था
सुरेगांव के तत्कालीन थाना प्रभारी योगेंद्र सिंग के मुताबिक पहले तो परिजन इसे सामान्य मौत बता रहे थे। पीएम रिपोर्ट में गला दबाकर हत्या करने की बात साबित होने के बाद जब हमने कड़ाई से पूछताछ की तो हत्या स्वीकार की। पहले तो चुन्नी बाई अकेले ही गला दबाने की बात कह रही थी। बाद में बताया कि उनके बेटे ओमप्रकाश ने भी मारने में मदद की। वह मृतक का हाथ पैर पकड़ा हुआ था और मैंने हाथों से पति का गला दबाया। हत्या की मूल वजह बताते आरोपियों ने कहा कि पति मेरे चरित्र पर संदेह करता था। किसी से भी बातचीत करता था, तो उसे बुरा लगता था। साथ ही वह शराब पीने का आदी था। घर के पैसे शराब में उड़ाता रहता था। इसलिए हम ऋण पुस्तिका, बैंक पासबुक सहित गाड़ी की चाभी भी अपने पास रखते थे। उसे देते नहीं थे। वह बार-बार हमसे यह सब चीज मांगता था। कहता था कि पूरी प्रॉपर्टी मेरे नाम में है, मुझे कागजात दे दो। मैं उसका कुछ भी करूं, तुम लोगों को क्या करना है? इसी प्रॉपर्टी के कागजात को लेकर भी 8 मई को रात 9 बजे घर में विवाद हुआ और हम दोनों ने हत्या कर दी।
फर्श से खून मिटा चुके थे, पर एक जगह बचा रहा
घटना को सामान्य मौत बता रहे परिजन पुलिस के हस्तक्षेप के बाद भी असलियत नहीं उगल रहे थे। पहले तो मृतक के पुत्र ओमप्रकाश देशमुख ने थाने झूठी रिपोर्ट लिखवा दी थी कि हम सभी एक परिवार में शादी में गए थे। रात में आए और सभी अपने अपने कमरे में खाना खाकर सो गए। पिताजी अपने कमरे में सोए थे। सुबह उठकर देखे तो मृत हालत में पाए गए। मां घटनास्थल यानी जहां मौत हुई, उस जगह को गलत बताती रही। हत्या बरामदे में हुई थी। जिसके बाद फिल्मी स्टाइल में खून फैले हुए फर्श को साफ कर लाश को उसके बिस्तर में लेटा दिया गया था।