स्कूल खुलवाने को लेकर अभाविप ने जिला प्रशासन को दिया ज्ञापन, बताये ये सुझाव?

बालोद – मंगलवार को अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद द्वारा कलेक्टर एवं जिला दंडाधिकारी को शैक्षिक संस्थानों में प्रत्यक्ष उपस्थिति के साथ अध्ययन-अध्यापन प्रारम्भ कराने के विषय में ज्ञापन दिया गया. जिसमें जिला संयोजक सुमित कौशिक ने कहा कोविड-19 महामारी के चलते पिछले सत्र के अन्तिम समय से ही सभी शिक्षण संस्थान बंद पड़े हैं। लगभग सभी संस्थानों ने अपनी-अपनी क्षमता के अनुसार ऑनलाइन शिक्षण जारी रखा है। ऑनलाइन माध्यमों से शिक्षण प्रभावकारी नहीं हो सकता, फिर भी समय एवं परिस्थितियों के कारण इसे अपनाना पड़ा। किन्तु हमारे संस्थान तो संसाधनविहीन हैं, ही उस पर सत्रारम्भ न होने के कारण अतिथि व्याख्याताओं की नियुक्ति भी न होने के कारण शिक्षकों की कमी बनी रही। इसके चलते जिले के लगभग सभी महाविद्यालयों में ऐसी कक्षाएँ रहीं जिनके कुछ विषयों की तो अब तक एक भी कक्षा नहीं हो सकी है। और अब शासन द्वारा ऑफलाइन पारम्परिक परीक्षा ही आयोजित किये जाने के निर्णय किये जाने के बाद विद्यार्थियों की चिन्ता बढ़ना स्वाभाविक ही है।

साथ ही इन समस्याओं पर विचार करने के उपरान्त परिषद् का यह मत है कि हमारे कुछ पड़ोसी राज्यों जैसे – मध्यप्रदेश आदि की तरह अब हमारे प्रदेश में भी शैक्षणिक परिसरों में प्रत्यक्ष उपस्थिति के साथ अध्ययन-अध्यापन प्रारम्भ किये जाने चाहिये। कार्यकर्ताओं ने कहा जिले के सभी संस्थानों को एक साथ न सही परन्तु क्रमबद्ध रूप से खोलने तथा शेष सत्रावधि हेतु शिक्षकों के रिक्त पदों पर नैमित्तिक नियुक्ति करने की व्यवस्था करेंगे ताकि जिले के विद्यार्थी पुनः परिसरों के उत्साहजनक वातावरण में अपने अध्ययन को गति प्रदान कर सकें। अपर कलेक्टर को ज्ञापन देने के लिए मुख्य रूप से ज़िला संगठन मंत्री दीपक गुप्ता, नगर मंत्री आशुतोष कौशिक, जिला कार्यसमिति सदस्य सोनू सोनकर, नगर सह मंत्री अमित कौशिक ,नगर विद्यालय प्रमुख जीत यदु , जयप्रकाश सिबाना , पुष्कर देशमुख , चित्रांश देशमुख ,आशीष ,योगेश ठाकुर,टिकेश साहू ,तथा विद्यार्थी परिषद के समस्त कार्यकर्ता उपस्थित थे।

You cannot copy content of this page