बालोद।
एक तरफ जहां बालोद जिले में केंद्रीय महाविद्यालय खुलना है शासन से स्वीकृति मिल चुकी है पर इसके लिए जगह तय ना हो पाने के चलते मामला लंबित है। जहां जनप्रतिनिधि अपने अपने क्षेत्र में उक्त केंद्रीय महाविद्यालय को खुलवाने पर जोर दे रहे हैं तो वहीं इन मांगों के बीच अब संजारी बालोद विधानसभा क्षेत्र की विधायक संगीता सिन्हा द्वारा विधानसभा क्षेत्र में कृषि महाविद्यालय खुलवाने के लिए प्रयास शुरू कर दिया गया है। उनका कहना है कि उनकी पूरी कोशिश है कि उनके कार्यकाल में संजारी बालोद विधानसभा क्षेत्र को कृषि महाविद्यालय की सौगात मिल जाए क्योंकि बालोद जिला कृषि प्रधान क्षेत्र है। जहां आय का प्रमुख जरिया कृषि है। ऐसे में अगर कृषि महाविद्यालय खुलता है तो इसका ज्यादा से ज्यादा लाभ यहां के किसानों को मिलेगा। खास बात ये है कि बालोद से ज्यादा गुरूर क्षेत्र में धान गेंहू व अन्य फसल की खेती होती है। वहां कृषि का रकबा भी ज्यादा है। इसके अलावा अन्य फसलों में भी रकबा अधिक रहता है। बाकी अन्य ब्लॉक में कई क्षेत्र असिंचित होने की वजह से कृषि का रकबा कम रहता है इसलिए विधायक द्वारा प्रयास किया जा रहा है कि कृषि महाविद्यालय संजारी बालोद विधानसभा क्षेत्र में खुले। चाहे वह बालोद क्षेत्र में खुले या गुरुर क्षेत्र में। वह बात की बात है लेकिन सरकार से स्वीकृति मिल जाएगी तो जगह-जगह फाइनल किया जाएगा। वर्तमान में कृषि महाविद्यालय की बहुत जरूरत महसूस की जा रही है।
किसानों को जरूरी सलाह और शोध से प्राप्त निष्कर्षों की जरूरत रहती है। जिससे वे कृषि में उन्नति ला सकते हैं नए-नए तकनीकों का इस्तेमाल कर सकते हैं। नए उन्नत किस्म के धान व अन्य फसलें उगा कर अच्छी आमदनी हासिल कर सकते हैं। कृषि महाविद्यालय होगा तो वहां समय-समय पर किसानों को ट्रेनिंग भी दी जा सकती है।
कृषि विज्ञान केंद्र का संचालन
हो रहा औपचारिक
वर्तमान में अभी कृषि विज्ञान केंद्र का संचालन औपचारिकता से हो रहा है। अरौद में इसे खोला गया है लेकिन वहां कोई दफ्तर ही नहीं है। सिर्फ खेतों में प्रदर्शनी लगाई गई है। कार्यालय का संचालन बालोद से ही हो रहा है लेकिन वहां ना कोई शोध होता है ना कोई कृषि संबंधित विशेष प्रयास। कृषि महाविद्यालय पूरे संसाधनों व सुविधाओं के साथ किसानों को सुविधा प्रदान करता है। कृषि प्रधान जिला व विधानसभा होने के नाते बालोद को कृषि महाविद्यालय की सौगात मिलनी ही चाहिए। यह किसानों की भी प्रमुख मांग है। संगीता सिन्हा विधायक का कहना है कि उन्होंने इस संबंध में विगत दिनों वर्चुअल कार्यक्रम में मुख्यमंत्री से मांग की है कि उनके विधानसभा में कृषि महाविद्यालय खोला जाए। मुख्यमंत्री ने आश्वस्त किया है कि उनकी मांगों पर विचार करेंगे और समय आने पर उन पर ध्यान देंगे। उन्होंने कहा कि इस संबंध में कृषि मंत्री रविंद्र चौबे से भी विशेष चर्चा हुई है।उम्मीद है कि मेरे कार्यकाल के अंतर्गत कृषि महाविद्यालय की सौगात मिल ही जाएगी। जब तक मेरा कार्यकाल शेष है तब तक मैं इसके लिए पूरा प्रयास करती रहूंगी। वर्तमान में यह मांग मेरी प्राथमिकता में शामिल है। ताकि क्षेत्र के किसानों का भला हो।