EXCLUSIVE- कहते हैं आसमान में बनती हैं जोड़ियां पर यहां वाट्सएप ग्रुप के जरिए ही बन रही है जोड़ियां, जो वर्षों से तलाशते रहते हैं शादी के लिए जोड़े वह इस ग्रुप की पहल से जुड़ रहे शादी के बंधन से ,2 साल से चल रही है साहू समाज के युवाओं की अनोखी पहल

बालोद। कोरोना काल में शादियों में भीड़ सिमट रही है। लोग गिने-चुने लोगों को ही अपनी शादी में बुला रहे हैं। लेकिन शादी के आयोजन से पहले ही सबसे महत्वपूर्ण कार्य होता है जोड़े ढूंढना। जिसे करने में कई लोगों के पसीने छूट जाते हैं। हाल ऐसा होता है कि कई बार लोग शादियों के लिए जोड़ी ढूंढते रहते हैं। लेकिन उनकी जोड़ियां नहीं मिल पाती है। ऐसे में कभी महीने गुजर जाते हैं तो कभी साल। लोग थक हारकर जोड़ी ढूंढने तक बंद कर देते हैं। लेकिन इस वाट्सएप ग्रुप के जरिए अब तक कई जोड़ियां अपनी नई जिंदगी की शुरुआत कर चुकी है। इसके लिए वह इस ग्रुप के एडमिन कमल देव साहू निवासी पुरुर के प्रति आभार भी जताते हैं जिनकी वजह से उनकी मुलाकात होती है। समाज सेवी कमल देव साहू का मानना है कि कई बार साहू समाज द्वारा युवक युवती परिचय सम्मेलन का आयोजन किया जाता है। लेकिन यह कभी कभार ही होता है और विशेष अवसर पर ही होता है। लेकिन हम वाट्सएप ग्रुप के जरिए ऐसे लोगों को वर या वधू की तलाश करवाने मदद करते हैं जो भटकते रहते हैं। कई मर्तबा देखने में मिलता है कि लोग शादी से आधा खर्च तो लड़की ढूंढने में ही कर देते हैं। लेकिन हम एक छोटे से प्रयास के जरिए उन्हें मिलाने का प्रयास करते हैं और कई जोड़ियां इसमें सफल भी हुई है।
2019 से उनका यह प्रयास जारी है

2019 में लगभग 100 जोड़ियां इस ग्रुप के जरिए मिलाई गई। इस बार लगभग 200 जोड़ियां मिलाई गई है। लेकिन लॉकडाउन के चलते उनकी शादी अटकी हुई है। जो आने वाले दिनों में शादी के परिणय सूत्र में बंधेंगे। हाल ही में 3 से 4 जोड़ों की शादी होनी है। जो पिछले दिनों सगाई कर चुके हैं। इस ग्रुप का मकसद यह भी है कि लोग शादी के नाम पर फिजूलखर्ची रोके। कई मर्तबा लोग सही रिश्तेदारी नहीं तलाश पाते और धोखा भी खा जाते हैं। ऐसे में यह वाट्सएप ग्रुप भी एक दूसरे को सही तरीके से समझने का मौका भी देती है। लोग इस वाट्सएप ग्रुप में अपना फोटो और बायोडाटा डालते हैं। जिसमें लोग एक दूसरे से संपर्क करके पूरी जानकारी हासिल करते हैं। जब रिश्ता जमता है तो बात आगे बढ़ती है और फिर शादियां होती है।हाल ही में इस ग्रुप के माध्यम से तीन से चार सगाई हो चुकी है। जिनकी आने वाले दिनों में शादियां होने वाली है।
प्रदेश स्तर पर किया जा रहा नजरअंदाज

ग्रुप के एडमिन कमल देव साहू (मो.9993536635)का कहना है कि उनकी इस पहल से सिर्फ बालोद जिला ही नहीं बल्कि छत्तीसगढ़ के कई जिले के साहू समाज के युवक युवतियां परिणय सूत्र में बंधी है। इस पहल को अगर हर जिले में लागू किया जाए इस तरह की हर जिले में प्रयास किया जाए तो समाज के युवक-युवतियों को जोड़ी ढूंढने में कोई दिक्कत का सामना नहीं करना पड़ेगा। लेकिन प्रदेश स्तर के साहू समाज द्वारा उनके इस पहल को नजरअंदाज किया जाता है ।अब तक उनकी पहल को प्रदेश स्तर के पदाधिकारी समझ नहीं पाए हैं। जिसके चलते उनका यह प्रयास स्थानीय स्तर पर ही सिमटा हुआ है। लेकिन इस प्रयास को अगर हर जिले में हर क्षेत्र में अपनाया जाए तो फिर जोड़ियां ढूंढना साहू समाज में चुटकी का काम होगा।
5 ग्रुप बनाया गया

उनके द्वारा 5 साहू समाज युवक युवती परिचय के नाम से ग्रुप बनाकर रिश्ता जोड़ने का काम शुरू किया गया है। 2 सालों से यह वे प्रयास कर रहें हैं।। 2019 में ग्रुप के माध्यम से लगभग 100 रिश्ता जोड़े गया था। इस साल 200 से अधिक रिश्ते जुड़ रहे हैं।

जिसमें छत्तीसगढ़ के अलावा बाहर के भी रिश्ते जोड़े जा रहे हैं। लेकिन इस ग्रुप को प्रदेश स्तर के पदाधिकारियों द्वारा महत्त्व ना समझे जाने के चलते इसकी उपेक्षा भी हो रही है ।लेकिन ग्रुप के एडमिन व ग्रुप के साथी अपना काम करते जा रहे हैं और इस ग्रुप का फायदा भी उठा रहे हैं। साहू मैरिज हेल्पलाइन, साहू युवक-युवती परिचय ग्रुप के नाम से यह सुविधा दी जाती है। जिसका फायदा कई जोड़ियों को मिल रहा है।
इनकी जोड़ियां बनी हाल ही में

इस साहू समाज युवक युवती ग्रुप के माध्यम से भागवत साहू मोरिद व सीमा साहू कांदुल की सगाई 29 नवंबर को संपन्न हुई। जो कई दिनों से जो योग्य वधु की तलाश कर रहे थे। इसके अलावा सोमनाथ साहू साजा व सलिता साहू बोरीदकला की सगाई 27 नवंबर को हुई।

इसके अलावा इंजीनियर हिमांशु चंदन दंतेवाड़ा व डॉक्टर ज्योति कलिहारी चैनगंज गुंडरदेही की सगाई भी 20 नवंबर को इसी ग्रुप के जरिए हुई।

तो वहीं 29 नवंबर को ग्रुप के माध्यम से ही रवि साहू डौंडी लोहारा व धानी साहू रायपुर की सगाई 29 नवंबर को संपन्न हुई। जिनकी सगाई होती है, जो जोड़े बनते हैं वह भी इस ग्रुप को शुभकामनाएं देते हैं कि उनकी बदौलत उनकी जोड़ी बन रही है।